यूपी पुलिस पेपर लीक मामले में बोर्ड ने गठित की जांच कमेटी, जानें- क्या है पूरा मामला
UP Constable Exam 2024
UP Constable Exam 2024: उत्तर प्रदेश में 17 और 18 फरवरी को आयोजित हुई कॉन्स्टेबल भर्ती परीक्षा को लेकर विवाद शुरु हो गया है. सोशल मीडिया पर कॉन्स्टेबल भर्ती परीक्षा का पेपर लीक होने का दावा जमकर वायरल हो रहा है. वहीं भर्ती बोर्ड ने कहा इंटरनल कमेटी बना कर पेपर लीक की खबरों की जांच की जाएगी. बता दें कि पुलिस भर्ती की परीक्षा की पेपर लीक की खबरें सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रही हैं. इसमें क्वेश्चन पेपर और आंसर शीट के स्क्रीनशॉट तेजी से शेयर किये जा रहे है.
उत्तर प्रदेश में पुलिस की 60 हजार 244 सिपाही के पदों के लिए 17 और 18 फरवरी को परीक्षा हुई. इसमें 48 लाख से ज्यादा अभ्यर्थी शामिल हुए. परीक्षा के चलते प्रदेश के सभी 75 जिलों में 2385 परीक्षा केंद्र बनाए गए.
इंटरनेल कमेटी होगी गठित
उत्तर प्रदेश में भर्ती परीक्षा पर लगातार पेपर लीक होने के सवाल उठ रहें है. जिसके चलते पुलिस भर्ती बोर्ड ने कहा कि इसकी जांच होगी. उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया पर पेपर लीक की खबरों की जांच के लिए इंटरनल जांच कमेटी बनाकर जांच कराई जाएगी. बता दें, अभ्यर्थियों की तरफ से सोशल मीडिया परीक्षा को लेकर पेपर लीक के दावे किए गए हैं. इन आरोपों को देखते हुए पुलिस भर्ती बोर्ड ने इंटरनल कमेटी गठित की है जो वायरल क्वेश्चन पेपर और आंसर शीट को लेकर जांच करेगी.
122 लोगों की हुई गिरफ्तारी
उत्तर प्रदेश की इस भारी पुलिस भर्ती में 60 हजार से अधिक सिपाहियों को रिक्रूटमेंट का मौका मिलेगा और इस भर्ती में पेपर देने लगभग 48 लाख से ज्यादा लोग पहुंचे. उत्तर प्रदेश के साथ-साथ देश के कई हिस्सों से लोग इस परीक्षा में बैठने पहुंचे. परीक्षा में गड़बड़ी ना हो इस के लिए पुलिस ने 122 शरारती तत्वों के गिरफ्तार भी किया.
अखिलेश यादव ने उठाए सवाल
पुलिस परीक्षा पेपर लीक की खबरों पर सपा मुखिया अखिलेश यादव ने कई सवाल खड़े कर दिये हैं. उन्होंने कहा कि यह ढाई करोड़ लोगों के साथ धोखा है. अखिलेश यादव ने सोशल मीडिया हैंडल एक्स पर लिखा – उप्र पुलिस की परीक्षा लीक होने की खबर के बीच सरकार ये दावा कर रही है कि सब कुछ ठीक से हुआ है. अगर ऐसा है तो सरकार वादा करे कि जितने भी लोगों के 100% नंबर आएंगे, सभी को नौकरी के लिए पात्र माना जाएगा फिर वो 1 लाख हों या 10 लाख. क्योंकि एक अभ्यर्थी से एक परिवार के लगभग 5 लोग जुड़े होते हैं. इसीलिए 50 लाख अभ्यर्थियों से जुड़े परिवारों के ढाई करोड़ लोगों के साथ ये परीक्षा सरेआम धोखा है. उप्र के ये 2.5 करोड़ लोग भाजपा को हरा देंगे. जिस उप्र को भाजपा चुनावों के लिए सबसे सुरक्षित समझ रही है, उसी उप्र में बेरोज़गार युवक-युवती और उनके परिवार के लोग भाजपा को सबसे बड़ी और बुरी हार का मजा चखाएंगे.
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